स्विमिंग पूल के साथ-साथ बनेगी हाॅकी व तीरंदाजी की एकेडमी, टीएडी की योजनाओं को लेकर एडीएम ने की समीक्षा, समय पर परियोजनाएं पूर्ण करने के निर्देश
प्रतापगढ। जिला मुख्यालय पर इंडोर स्टेडियम में विभिन्न सुविधाएं विकसित करने के लिए 18 एकड़ जमीन का मास्टर प्लान बनाया जाएगा ताकि अलग-अलग समय पर मिलने वाली स्वीकृतियों के बावजूद व्यवस्थित ढंग से विभिन्न निर्माण कार्य हो सकें।
शुक्रवार को जनजाति क्षेत्राीय विकास विभाग की ओर से हो रहे कार्यों की समीक्षा बैठक के दौरान एडीएम हेमेंद्र नागर ने बताया कि जयपुर से आकिटेक्ट फर्म को बुलाकर इसका मास्टर प्लान बनाया जाएगा। हाल ही में इसमें तैराकी के साथ-साथ तीरंदाजी व हाॅकी एकेडमी की प्रशासनिक स्वीकृतियां जारी की गई हैं, जिनका निर्माण कार्य मास्टर प्लान तैयार होने के बाद होगा। बाद में विभिन्न गतिविधियों व कार्यों के लिए जैसे-जैसे फंड उपलब्ध होगा, वैसे-वैसे कार्य कराए जा सकेंगे। इस दौरान एडीएम ने टीएडी के विकास कार्यों से जुड़ी विभिन्न एजेंसियों व विभागों के अधिकारियों के साथ समीक्षा करते हुए कहा कि जो कार्य पूर्ण हो गए हैं, उनके फाइनल टच देकर हैंड ओवर-टेकर ओवर की कार्यवाही करें। जो कार्य चल रहे हैं, उन्हें समयबद्ध ढंग से पूरा कराएं। स्वीकृत कार्यों को शीघ्र शुरू कराएं। कार्यों में गुणवत्ता के साथ किसी प्रकार का समझौता नहीं करें। उन्होंने कहा कि सरकार जनजाति क्षेत्रा के विकास के लिए भरपूर पैसा दे रही है। ऐसे में अधिकारियों का यह दायित्व है कि इस पैसे का समुचित सदुपयोग हो, समयबद्ध ढंग से कार्य संपन्न हो तो लोगों को सरकार की मंशा के अनुसार शीघ्र लाभ मिल सके। उन्होंने जनजाति विकास विभाग के छात्रावासों में पेयजल की समुचित व्यवस्था के लिए पीएचईडी एक्सईएन को निर्देश दिए तथा जनजाति भवन का कार्य तत्काल पूर्ण कर उसे केंद्रीय विद्यालय के संचालन के लिए हैंडओवर करने के लिए कहा।
इस दौरान टीएडी परियोजना अधिकारी एसीईओ जगदीश चंद्र हेड़ा, सानिवि अधीक्षण अभियंता हरिकृष्ण, टीएडी एक्सईएन हरीश कुमावत, डिप्टी डीईओ भैरूंलाल मीणा, पीएचईडी एक्सईएन एसएल ओस्तवाल, डिस्काॅम एक्सईएन इंद्राज मीणा सहित संबंधित अधिकारीगण मौजूद थे।