पूर्व प्रधान, बीडीओ पर लगाया भ्रष्टाचार का आरोप, कहा— 45 प्रतिशत ‘जीएसटी’ लेते है प्रधान—बीडीओ दोनों ने पार्टनरशिप में बनाई खुद की कंस्ट्रक्शन कंपनी, 90 प्रतिशत कार्य एक ही फर्म को, 40 प्रतिशत एडवांस के साथ
झुंझुनूं । अजीत जांगिड़
दो दिन पहले झुंझुनूं जिले की चिड़ावा पंचायत समिति प्रधान इंदिरा डूडी के इस्तीफे की खबर सामने आई थी। अब इस्तीफा देने के बाद चिड़ावा पंचायत समिति की पूर्व प्रधान इंदिरा डूडी ने ना केवल पूर्व प्रधान रोहिताश्व धांगड़, बल्कि चिड़ावा बीडीओ अनिशा बिजारणियां और अपनी ही पार्टी कांग्रेस के उप प्रधान विपिन नूनियां पर जमकर आरोप लगाए है और कहा है कि जो भ्रष्टाचार का खेल पिछले एक साल में चिड़ावा पंचायत समिति में हुआ है। वे उसकी ना केवल जांच करवाएगी। बल्कि दोषियों को जेल पहुंचाने तक की लड़ाई लड़ने वाली है। भ्रष्टाचार जैसे आरोपों से क्लिन चिट मिलने के बाद झुंझुनूं जिले की चिड़ावा पंचायत समिति की प्रधान इंदिरा डूडी ने फिर से कार्यभार संभाल लिया था। लेकिन उन्होंने अब अपना इस्तीफा देते हुए पूर्व प्रधान रोहिताश्व धांगड़, बीडीओ अनिशा बिजारिणयां तथा उप प्रधान विपिन नूनियां के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। उन्होंने झुंझुनूं में हुई प्रेस वार्ता में आरोप लगाया है कि पूर्व प्रधान रोहिताश्व धांगड़ ने अपने करीबी धर्मपाल और बीडीओ अनिशा बिजारणियां के साथ पार्टनरशिप में एक कंस्ट्रक्शन कंपनी बनाई है। इसी फर्म को चिड़ावा पंचायत समिति के 90 प्रतिशत से ज्यादा कार्य दिए गए है। वहीं सरपंचों और ग्राम विकास अधिकारियों को भी पाबंद किया गया है कि पंचायतों में जो भी काम होंगे। वो सभी इसी कंस्ट्रक्शन कंपनी से होंगे। साथ ही उन्होंने चिड़ावा पंचायत समिति में 45 प्रतिशत तक कमिशन, जीएसटी के नाम से वसूलने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि वे एक—एक कार्य की जांच करवाएगी। जिसके बाद ना केवल जनता का पैसा वापिस पंचायत समिति आएगा। बल्कि दोषी जेल जाएंगे।
उप प्रधान का लैटर दिखाया, बोली— सवाल यह, किस कारण नहीं ली प्रधानी
इधर, पूर्व प्रधान इंदिरा डूडी ने अपनी ही कांग्रेस पार्टी के उप प्रधान और यूथ कांग्रेस के पिलानी विधानसभा क्षेत्र के अध्यक्ष विपिन नूनियां भी निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि जब उन्हें झूठे आरोपों के बाद पद से हटाया गया था। तो कायदे से उप प्रधान को चार्ज दिया जाना था। लेकिन पता नहीं किस ‘लालच’ या फिर किन परिस्थितियों के कारण विपिन नूनियां ने खुद प्रधानी नहीं ली और बाकायदा सरकार को पत्र लिखकर कहा कि वे अपने कार्यों में व्यस्त होने के कारण प्रधान का चार्ज लेने में असमर्थ है। यही नहीं उन्होंने इसी पत्र में पंचायत समिति सदस्य रोहिताश्व धांगड़ को चार्ज देने की सिफारिश तक दी। यह पहली बार हुआ कि सरकार जिसे प्रधानी सौंप रही थी। वो लेने से मना कर रहा था और सिफारिश में भी एक ऐसे व्यक्ति की कर रहा था जो प्रतिद्वंद्वी भाजपा पार्टी के पाले में था। यह जांच का विषय है। इसकी जानकारी वे कांग्रेस आलाकमान तक पहुंचाएगी।
भ्रष्टाचार का गदर देखा, इसलिए छोड़ा पद, अब लड़ेंगी भ्रष्टाचार के खिलाफ
आपको बता दें कि इस प्रेस वार्ता में चिड़ावा की पूर्व प्रधान इंदिरा डूडी ने नाम लिए बगैर झुंझुनूं विधायक राजेंद्र भांबू पर भी कई आरोप लगाए और कहा कि भांबू ने सरकार पर दबाव बनाया। ताकि इंदिरा डूडी के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई हो। बहरहाल, डूडी ने प्रेस वार्ता में यह भी साफ किया कि उन्होंने क्लीन चिट मिलने के बाद दुबारा अपना कार्यभार संभाल लिया था। लेकिन पांच दिनों में जिस तरह का माहौल और भ्रष्टाचार का गदर पंचायत समिति में देखा। उसी दिन इस भ्रष्टाचार को बेनकाब करने का संकल्प लिया और अपना इस्तीफा दे दिया। पूर्व प्रधान इंदिरा डूडी की मानें तो अब उनका यही मिशन है कि जनता की सेवा करते हुए कथित भ्रष्टाचारियों को बेनकाब कर उनका सजा दिलवाना। वहीं विधायक राजेंद्र भांबू और पूर्व प्रधान रोहिताश्व धांगड़ ने सारे आरोपों को सिरे से खारिज किया है।













